आईपीएल 2023 के मैच देख रहे हैं और वह भी मुफ्त- कोई भी पैकेज खरीदे बिना। सभी कह रहे हैं कि इसने आईपीएल देखने का मजा और बढ़ा दिया- जो आईपीएल नहीं देखते थे, वे भी देख रहे हैं। ये तो पिछले साल अगस्त में ही अंदाजा हो गया था कि आईपीएल 2023 बिलकुल अलग होगा जब Reliance Jio Infocomm ने कहा कि 5G रोल आउट आईपीएल दर्शकों के अनुभव को बदल देगा।
वायकॉम 18 के पास आईपीएल डिजिटल अधिकार हैं और डिज्नी-स्टार के पास भारतीय उपमहाद्वीप के टीवी अधिकार। वायकॉम 18/रिलायंस ने 23,758 करोड़ रुपये खर्च किए अपने दो पैकेज के लिए और डिज्नी-स्टार को टीवी अधिकार 23,575 करोड़ रुपये में मिले। आईपीएल के इतिहास में पहली बार, मीडिया अधिकार दो अलग-अलग नेटवर्क को बेचे गए। तो ‘युद्ध’ तो होना ही था और मकसद एक ही- अपना पैसा वसूल करो और साथ में बड़ी कमाई। इसके लिए दोनों की पॉलिसी कितनी अलग है- उसी का तमाशा है ये आईपीएल। इस चर्चा को और आगे बढ़ाने से पहले, कुछ फैक्ट नोट करना जरूरी है-
- 23 दिसंबर को कोच्चि में आईपीएल नीलामी की टेलीविजन पर स्टार की कवरेज में 35% की बढ़ोतरी दर्ज हुई। इसे 50 मिलियन दर्शकों ने देखा- कुल 1.59 बिलियन मिनट (2021 में मिनी-नीलामी की तुलना में 10% ज्यादा)।
- स्मार्टफोन पर टी20 विश्व कप 2022 की डिज्नी+हॉटस्टार ने रिकॉर्ड-ब्रेकिंग व्यूअरशिप दर्ज की। एक नई लत लगा दी इसने। अब क्रिकेट देखने के लिए काम से जल्दी निकलने या कोई काम छोड़ने की जरूरत नहीं- जहां हैं, वहीं क्रिकेट देखो। भारत में ओटीटी कंज्यूमर की गिनती एकदम बढ़ गई। रिकॉर्ड- टी 20 विश्व कप 2021 की तुलना में, व्यूअरशिप 1.13 गुना ज्यादा और भारत-पाकिस्तान तथा भारत-दक्षिण अफ्रीका मैच 19 मिलियन ने देखा जबकि इंग्लैंड-पाकिस्तान फाइनल 12 मिलियन ने। क्रिकेट में स्ट्रीमिंग युग आ गया। अगला पड़ाव आईपीएल को होना ही था।
- वायकॉम 18 ने ये कह कर सनसनी फैला दी की उनका लक्ष्य है 500 मिलियन से ज्यादा कंज्यूमर तक अपनी पहुंच बनाना- इसलिए जियो ऐप पर आईपीएल मुफ्त दिखाएंगे। तब तक वे फीफा विश्व कप मुफ्त दिखा चुके थे और डब्ल्यूपीएल मुफ्त दिखाने के लिए तैयार थे। साथ ही भोजपुरी, तमिल और बंगाली सहित कई भाषाओं में कमेंट्री।
- जवाब में डिज्नी-स्टार ने भी कहा आईपीएल 2023 को 22+ चैनल पर ब्रॉडकास्ट करेंगे कई नई बातों के साथ पर इस खबर पर किसी ने ध्यान नहीं दिया- ‘मुफ्त आईपीएल’ के सामने सब फीका पड़ गया।
- दोस्तों या परिवार के साथ, बातचीत करते हुए टीवी सेट पर मैच लाइव देखने का लुत्फ़ बैक फुट पर आ गया। साथ ही डिज्नी-स्टार ने विज्ञापन रेट 10% बढ़ा दिए। उसी दिन रिलायंस ने अपने विज्ञापन रेट, जो पहले से कम थे- 10% और घटा दिए। हर मार्केटिंग जानकार ने कहा- ब्रेक-ईवन के लिए विज्ञापन रेट में बढ़ोतरी करनी होगी- वे नहीं माने, महंगे अधिकार खरीदने के बावजूद।
- डिजिटल लहर आ गई- जियो सिनेमा पर, देश में, हर आईपीएल दर्शक को हर डिवाइस- मोबाइल फोन, कनेक्टेड टीवी, लैपटॉप, टैब पर मुफ्त स्ट्रीमिंग और इसी से 500 मिलियन के आईपीएल स्ट्रीमिंग तक पहुंचना।
- संयोग से तभी ये रिकॉर्ड सामने आ गया कि भारत में पे टीवी वाले घरों की गिनती और आईपीएल के लिए पहुंच और टीवीआर में गिरावट हो रही है- 2020 में पे टीवी के साथ 129 मिलियन परिवार थे, जो क्रमशः 2021 और 2022 में घटकर 125 मिलियन और 108 मिलियन हो गए।
- उधर जियो का नया तीर- आईपीएल दिखाएंगे 4K वीडियो रिज़ॉल्यूशन में। ये हाई-डेफिनिशन (एचडी) वीडियो है जिसमें 1080p एचडी वीडियो के रिज़ॉल्यूशन का चार गुना है। 2022 तक, एचडी फीड से ही तब के डिजिटल पार्टनर हॉटस्टार मैचों को दिखा रहे थे।
- ये सब जिस तकनीकी टीम या ढेरों भाषाओं में फीड जिस टीम की बदौलत किया जा रहा था- उस पर कितना पैसा खर्च हो रहा था- इसका अंदाजा भी नहीं लगा सकते।
तो इस तरह पहुंच गए दो फैक्ट पर- आईपीएल की बदौलत से 500 मिलियन से ज्यादा का कंज्यूमर बेस और स्ट्रीमिंग मुफ्त में। आज जबकि कुछ मुफ्त नहीं मिलता तो वे कैसे मुफ्त स्ट्रीमिंग दे रहे हैं? क्या गणित इसके पीछे काम कर रहा है, अब उसे समझिए-
- आईपीएल से पहले तक जियो का 5G नेटवर्क 29 राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों के 225 शहरों में लाइव था। इनमें 38.8 करोड़ एक्टिव जियो सब्सक्राइबर आईपीएल स्ट्रीमिंग करें तो मुफ्त पर उसके लिए डेटा तो खरीदना होगा!
- जो कमाई मुफ्त सब्सक्रिप्शन से गई- डेटा खपत से वापस आ जाएगी। साथ में ढेरों नए जियो कंज्यूमर मिल जाएंगे।
एक नए सर्वे की रिपोर्ट कहती है –
1. हाई-डेफिनिशन लीनियर टेलीविजन पर आईपीएल देखने वाले परिवारों की गिनती पिछले एक दशक में लगातार घट रही है।
2. मौजूदा फोकस स्मार्टफोन कंज्यूमर पर है- 80% लीनियर या पारंपरिक टीवी कंज्यूमर अगले साल तक कनेक्टेड टीवी पर स्विच कर जाएंगे।
अरे स्ट्रीमिंग मुफ्त है- डेटा नहीं और कंज्यूमर की कई मिलियन की गिनती डेटा की बदौलत आए पैसे को कहां पहुंचा रही है- आप सोच भी नहीं सकते। जियो ने डेटा की कीमत घटाने की कोई घोषणा नहीं की। पहले से डेटा इतना महंगा नहीं और इसीलिए कोई इस तरफ देख ही नहीं रहा। ये सारा खेल है बढ़े कंज्यूमर बेस को डेटा बेचने का। लंदन में, हर ट्यूब स्टेशन और बड़े स्टोर पर, हर सुबह ‘मेट्रो’ और हर शाम ‘इवनिंग स्टैंडर्ड’ अख़बार मुफ्त बंटती है- कई बार तो 40-50 पेज भी होते हैं उसमें और सब कुछ इतना कि लोगों ने पैसा खर्च कर अखबार पढ़ना छोड़ दिया। इसके लिए वसूली होती है- विज्ञापन देने वालों से जो ‘रीच’ की गिनती पर पैसा देते हैं। आप आईपीएल स्ट्रीमिंग का नहीं, डेटा का पैसा दे रहे हैं। डेटा नहीं तो मुफ्त स्ट्रीमिंग से आप को क्या मिला?
नतीजा- डिज्नी-स्टार आईपीएल शुरू होने तक भी सिर्फ 50% विज्ञापन समय बेच पाए थे और जियो का विज्ञापन का कोई रेट नहीं- जैसा ग्राहक वैसा रेट और उसके लिए वैसा ही पैकेज।
आख़िरी बात- जिस दिन आईपीएल शुरू हुई JioCinema एप ने 2.5 करोड़ से ज्यादा, एक ही दिन में डाऊनलोड/ इंस्टॉल का नया रिकॉर्ड बनाया। 6 करोड़ से ज्यादा ने स्ट्रीमिंग से मैच देखा और एक वक्त पर 1.6 करोड़ दर्शकों के मैच देखने का भी रिकॉर्ड बना। ये कामयाबी नहीं तो और क्या है? सिर्फ डेटा नहीं, एक स्टोरी और भी है- उसकी चर्चा भी अगली रिपोर्ट में करेंगे।
- चरनपाल सिंह सोबती